काबुल। तालिबान ने मंगलवार शाम अफ़ग़ानिस्तान में अंतरिम सरकार गठन का एलान किया और बताया कि अफ़ग़ानिस्तान अब ‘इस्लामिक अमीरात’ है. तालिबान के प्रवक्ता ज़बीउल्लाह मुजाहिद ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि तालिबान के संस्थापकों में से एक मुल्ला मोहम्मद हसन अखुंद सरकार के मुखिया होंगे और मुल्ला अब्दुल ग़नी बरादर सरकार में उपप्रमुख होंगे. बरादर तालिबान के सह संस्थापक हैं. अखुंद की अगुवाई में गठित होने वाली सरकार में मुल्ला याकूब रक्षा मंत्री होंगे और सिराजुद्दीन हक्कानी गृह मंत्री होंगे.
तालिबान के प्रवक्ता ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में अंतरिम सरकार के गठन की जानकारी दी. उन्होंने कहा, “हम जानते हैं कि हमारे देश के लोग नई सरकार का इंतज़ार कर रहे हैं. ” उन्होंने कहा, ‘आगे पूरी सरकार गठन की योजना पर काम होगा.’ उन्होंने कहा कि तब तक मुल्ला हबीबुल्लाह अखुंदज़ादा मंत्रिमंडल के पैट्रन (संरक्षक) होंगे.’ तालिबान ने बीते 15 अगस्त को काबुल पर कब्ज़ा किया था. तालिबान के नेता बीते कुछ दिन से जानकारी दे रहे थे कि वो सरकार गठन के लिए बातचीत कर रहे हैं. अंतरिम मंत्रिमंडल के एलान को तालिबान सरकार के गठन की दिशा में अहम कदम के तौर पर देखा जा रहा है.
तालिबान प्रवक्ता ज़बीहुल्लाह मुजाहिद ने बताया, “ये अस्थाई व्यवस्था सरकार का कामकाज चलाने के लिए की जा रही है.”उन्होंने बताया, “अभी शूरा परिषद (मंत्रिमंडल) कामकाज देखेगी और फिर आगे तय किया जाएगा कि लोग इस सरकार में कैसे भागेदारी करते हैं.” गृह मंत्री बनाए गए सिराजुद्दीन हक्कानी चरमपंथी समूह हक्कानी नेटवर्क के प्रमुख हैं. अफ़ग़ानिस्तान में दो दशक से ज़्यादा वक़्त तक चली जंग के दौरान हक्कानी नेटवर्क को कई जानलेवा हमलों के लिए जिम्मेदार बताया गया. हक्कानी नेटवर्क तालिबान का सहयोगी है.
तालिबान ने अफ़ग़ानिस्तान में समावेशी सरकार के गठन का दावा किया था. तालिबान ने सोमवार को पंजशीर पर कब्ज़े का एलान किया. नेशनल रसिस्टेंस फ्रंट ने तालिबान के कब्ज़े के दावे को खारिज़ किया और जंग जारी रखने का एलान किया. एक दिन बाद ही तालिबान ने सरकार को लेकर एलान कर दिया. तालिबान के प्रवक्ता मुजाहिद ने सोमवार को भी प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी. उनसे तब भी सरकार गठन को लेकर सवाल किया गया था लेकिन उन्होंने तब इस पर साफ़ जवाब नहीं दिया था.
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